कभी खड़े-खड़े कभी लिटाके कैसे भी करके दिन में एक बार चुद ही जाते थे। यह सिलसिला 1 महीने तक चला दूसरे महीने मेरा मेंस नहीं आया मेरी महावारी रुक गई। मुझे डर लगने लगा कि अब मैं क्या करूं पर मैं किसी से कुछ बोल भी नहीं सकती थी देवर को बोली तो बोला कि मैं भाग जाऊंगा बदनामी हो जाएगी। एक दिन मैं अपने देवर को कह रही थी कि टेबलेट लाकर मुझे दे दो पर सुना नहीं पर यह बात मेरी सास को समझ आ गई क्योंकि उसे लगा कि मेरी मेंस 1 महीने से नहीं हुई है। और मेरा पेट भी बड़ा होने लगा था दे दे देते तो सांसे एक दिन आकर बोले कि तेरे पेट में कहीं बच्चा तो नहीं है मैं कुछ नहीं बोल पाई क्योंकि यह घर की बात थी बताती भी क्या। फिर उसने मुझे मारा और फिर पूछने लगी कि किसका है यह बच्चा.तो मैं बता दूं आपके ही लाडले का है उसने ही मुझे चोदा है किसी और ने नहीं मुझे चोदा मैं नहीं पटाई उसको उसने मुझे बहलाया। इस तरह से बात उजागर हो गई दोस्तों और फिर मेरे साथ अपने जान-पहचान के डॉक्टर के यहां से मेडिसिन लाई और मुझे खिलाई तब मेरा अबॉर्शन हुआ। तो मैं यह कहूं कि दोस्तों के जब आपको कभी मौका मिले किसी और को चोदने का तो
>
मस्त भारतीय चुदाई का जमावड़ा
Related videos









