ओ भैय्या…. चूत की भी कभी धज्जियाँ उडी है ? XXX Hindi चूत की भी कभी धज्जियाँ उडी है ? प्लीज अपने लंड को बाहर निकाल लो, मै तुम्हारे पाँव पड़ती हूँ.”“बस बस मेरी जान थोडा सा सबर करो, मैंने तुम्हे समझाया था ना…. प्लीज अपने लंड को बाहर निकाल लो, मै तुम्हारे पाँव पड़ती हूँ.”“बस बस मेरी जान थोडा सा सबर करो, मैंने तुम्हे समझाया था ना…. घर में कोई नहीं है, मेरे और तुम्हारे सिवा यह बात किसे पता चलेगी.”भाभी पर भी धीरे धीरे मस्ती छा रही थी सो वो बोली, “ठीक है भैय्या ! ओ भैय्या…. चूत की भी कभी धज्जियाँ उडी है ? रोशनी में चोदने और चुदवाने का अलग ही मजा होता है” मै उनके बगल में लेटता हुआ बोला। “बड़े बेशरम हो भैय्याजी”. आपसे होता हवाता तो कुछ है नहीं बस अपना लंड मेरी चूत से रगड़ कर पानी निकाल कर मुझे जलता छोड़ कर सो जाओगे.”तब मुझे असलियत पता चली कि भैय्या अभी तक भाभी को चोद नहीं पाए है, वो नशा इतना ज्यादा करते है कि उनका लंड फिर खड़ा ही नहीं होता था। अब तो यह जान कर कि भाभी अभी तक कुंवारी है, मेरा लंड बिल्कुल रॉड की तरह सीधा तन गया। मैंने धीरे से कमर आगे करके लंड का दबाब उनकी चूत पर डाल कर उन्हें अपनी बांहों में ले लिया।जैसे ही मेरे












